थोक मंहगाई दर मार्च में गिरकर 1.34 प्रतिशत रही

नई दिल्ली
थोक मूल्य सूचकांक पर आधारित मुद्रास्फीति मार्च 2023 में घटकर 1.34 प्रतिशत (अस्थायी) रही। फरवरी में थोक मुद्रास्फीति 3.85 प्रतिशत थी।
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय द्वारा जारी थोक मूल्य सूचकांक संबंधी रिपोर्ट के अनुसार, मुद्रास्फीति में यह गिरावट प्राथमिक धातुओं, खाद्य उत्पाद, टेक्सटाइल, गैर-खाद्य उत्पाद, खनिजों, रबड़ और प्लास्टिक उत्पाद, कच्चे तेल और प्राकृतिक गैस तथा कागज और कागज से बने सामनों के थोक मूल्यों में कमी के कारण आई है।

सभी वस्तुओं का थोक मूल्य सूचकांक (आधार वर्ष 2011-12) मार्च 2023 में इससे पिछले माह के बराबर 150.9 अंक पर बना रहा।
प्राथमिक वस्तुओं के वर्ग में थोक मूल्य सूचकांक पर आधारित मुद्रास्फीति फरवरी के 3.28 प्रतिशत से घटकर 2.40 प्रतिशत रही। ईंधन और बिजली वर्ग में थोक मुद्रास्फीति पिछले माह के 14.82 प्रतिशत से घटकर 1.96 प्रतिशत रही तथा विनिर्मित उत्पादों के वर्ग में थोक मूल्य सालाना आधार पर 0.77 प्रतिशत नीचे रहा जबकि फरवरी में इस वर्ग में थोक मुद्राफीति 1.94 प्रतिशत थी।

खाद्य वस्तुओं की थोक कीमतें मार्च में सालाना आधार पर 2.32 प्रतिशत ऊपर थीं जबकि फरवरी में इस वर्ग में मुद्रास्फीति 2.76 प्रतिशत थी। चावलों की थोक कीमत इस वर्ष मार्च में पिछले साल इसी महीने की तुलना में 7.54 प्रतिशत और गेंहू की कीमतें 9.16 प्रतिशत ऊंची थी। दालों के भाव में सालाना आधार पर 3.03 प्रतिशत वृद्धि हुई है। दूध 8.48 प्रतिशत मंहगा रहा जबकि मार्च में आलू और प्याज की कीमतों में क्रमशः करीब 24 प्रतिशत तथा 37 प्रतिशत की गिरावट रही। टेक्सटाइल उत्पादों के दाम सालाना आधार पर 4.93 प्रतिशत नीचे रहे। माइल्ड स्टील 4.91 प्रतिशत सस्ता रहा जबकि सीमेंट, चूना और प्लास्टर के थोक मूल्यों में सालाना आधार पर औसतन 6.32 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गयी।

 

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